जब भी आप बस में सवार होते हैं, अक्सर यही सवाल दिमाग में आता है: क्या मैं सुरक्षित हूँ? भारत में हर साल कई बस दुर्घटनाएं होती हैं, पर सही जानकारी और कुछ आसान सावधानियों से नुकसान कम किया जा सकता है। इस पेज में हम हाल के बड़े‑बड़े हादसे, उनके कारण और यात्रियों को बचाने वाले टिप्स को सरल भाषा में बताएँगे।
पिछले कुछ महीनों में कई बड़ी घटनाएँ सामने आईं। उदाहरण के तौर पर, फ़रवरी 2025 में नई दिल्ली रेलवे स्टेशन के पास एक भीड़भाड़ वाली बस ने अचानक ब्रेक फेल हो जाने की वजह से 18 लोगों को घायल कर दिया। इसी तरह, मार्च में उड़ीसा के एक ग्रामीण इलाके में बाढ़ का पानी सड़क को धँसाने के कारण दो बड़ी बसें गिर गईं, जिससे कई यात्रियों की जान बची लेकिन कई गंभीर चोटें आईं। इन घटनाओं ने दिखाया कि मौसम, रख‑रखाव और चालक की थकान अक्सर बड़े खतरे बनते हैं।
आप खुद भी अपनी सुरक्षा का ध्यान रख सकते हैं। सबसे पहले, बस में चढ़ने से पहले सीट बेल्ट (अगर उपलब्ध हो) देखें और सुनिश्चित करें कि दरवाज़े ठीक तरह बंद हों। दूसरा, ड्राइवर की थकान पर नजर रखें—अगर वह नींद के लक्षण दिखाए तो तुरंत मदद माँगें। तीसरा, मौसम का अंदाज़ा लगाएँ; बारिश या बाढ़ वाले दिन रूट बदलना बेहतर रहता है। अंत में, आपातकालीन नंबर (100/112) को अपने फ़ोन में सेव कर रखें और दुर्घटना की स्थिति में शांत रहकर मदद के लिए सिग्नल भेजें।
इन छोटे‑छोटे कदमों से आप न केवल अपनी बल्कि साथी यात्रियों की भी सुरक्षा बढ़ा सकते हैं। याद रखिए, बस एक सार्वजनिक साधन है—सुरक्षा सबकी जिम्मेदारी होती है। अगर आप देखते हैं कि कोई असामान्य स्थिति है तो तुरंत चालक या स्टाफ को बताएँ।
हादसे के बाद अक्सर सरकारी रिपोर्टें आती हैं जिसमें कारणों की जांच और सुधारात्मक कदम बताए जाते हैं। इन रिपोर्टों में बताया गया है कि कई बार ब्रेक सिस्टम में नियमित चैक‑अप नहीं किया जाता, जिससे अचानक फेलियर होते हैं। इसलिए, जब आप किसी बस कंपनी से यात्रा बुक करें तो उसकी रख‑रखाव रिकॉर्ड देखना अच्छा रहता है। बड़े शहरों की सरकारी या निजी कंपनियों की बसें आमतौर पर बेहतर सुरक्षा मानकों का पालन करती हैं।
अगर आप अक्सर लंबी दूरी की बस यात्रा करते हैं, तो अपने साथ थोड़ा पानी, हल्का स्नैक्स और आवश्यक दवाइयाँ रखें। अचानक रुकावट या ट्रैफ़िक जाम में देर हो सकती है, इसलिए खुद को आरामदेह बनाकर रखना तनाव कम करता है और ड्राइवर पर भी दबाव घटाता है।
आखिरकार, बस हादसे से बचने के लिए जागरूकता सबसे बड़ी कुंजी है। नियमित अपडेट पढ़ते रहें, सोशल मीडिया या स्थानीय समाचार साइटों पर नई जानकारी देखें, और अपने अनुभव को दूसरों के साथ साझा करें। इस तरह हम मिलकर एक सुरक्षित यात्रा माहौल बना सकते हैं।
उधमपुर, जम्मू-कश्मीर में CRPF के बस हादसे में तीन जवानों की मौत और 16 घायल। DG GP सिंह घायलों की हालत जानने हुए कमांड हॉस्पिटल पहुंचे। हादसे का कारण पहाड़ी और फिसलन भरा रास्ता माना जा रहा है। मामले की जांच हो रही है।