जब हम मुहूर्त, एक ऐसा समय‑संकल्प है जो शुभ कार्यों के सफल होने के लिए अनुकूल माना जाता है, भी कहलाता है शुभ समय की बात करते हैं, तो साथ ही तिथि‑पंचांग, वर्तमान तिथि, नक्षत्र और योग की जानकारी देती है और राशिफल, ग्रहों की स्थितियों से व्यक्तिगत भविष्य बताता है भी सामने आते हैं। कई मामलों में मंगल‑दोष, एक ऐसी स्थिति है जहाँ शनि और मंगल की विचलन से कार्यों में बाधा आ सकती है को भी ध्यान में रखना जरूरी होता है। इस प्रकार मुहूर्त केवल समय नहीं, बल्कि तिथि‑पंचांग, राशिफल और मंगल‑दोष जैसी आध्यात्मिक प्रणाली का हिस्सा है, जिससे चयनित क्षण और भी भरोसेमंद बनता है।
2025 में चैत्र नवरात्रि के दौरान माँ छत्रगांठा की पूजा की तैयारी में खास मुहूर्त की जानकारी बहुत मांग में थी। इस जागरण में सूर्य, चंद्र और नक्षत्रों की गति के हिसाब से निर्धारित समय ने भक्तों को सही ढंग से अनुष्ठान करने में मदद की। उसी तरह कुंभ राशि वालों के लिए 12 अक्टूबर 2025 को टैरो में मिला "पाँच वैंड्स" कार्ड, जिसे कई लोग मुहूर्त में संभावित जोखिम के संकेत के रूप में देखते हैं। इन उदाहरणों से स्पष्ट होता है कि मुहूर्त को गणना करते समय तिथि‑पंचांग की सटीकता और राशिफल से मिलने वाला व्यक्तिगत पहलू दोनों ही महत्वपूर्ण होते हैं।
किसी भी कार्य – चाहे वह शादियों का बंधन हो, नए व्यवसाय की शुरुआत या धार्मिक अनुष्ठान – में शुभ मुहूर्त चुनने के लिए तीन मुख्य कदम अपनाए जा सकते हैं। पहला, तिथि‑पंचांग से दिन, नक्षत्र और योग की जाँच करें। दूसरा, अपने व्यक्तिगत राशिफल से ग्रह स्थितियों के प्रभाव को समझें, खासकर यदि मंगल‑दोष जैसे बाधा कारकों की उपस्थिति है तो वैकल्पिक समय तलाशें। तीसरा, स्थानीय पंचांग विशेषज्ञ या भरोसेमंद ऑनलाइन टूल से पुष्टि करवाएँ। यह प्रक्रिया न केवल सफलता की संभावना बढ़ाती है, बल्कि मानसिक शांति भी देती है।
हमारी साइट पर नीचे कई लेख और अपडेटेड मुहूर्त तालिकाएं उपलब्ध हैं। आप यहाँ पढ़ सकते हैं कि कैसे तिथि‑पंचांग की गणना में "अहोरात" और "संयोग" के तत्व जुड़ते हैं, या फिर राशिफल के आधार पर सोमवार को कौन से कर्मों से बचना बेहतर है। साथ ही, मंगल‑दोष से जुड़ी सावधानियों की विस्तृत सूची भी मिल जाएगी, जिससे आप किसी भी चुनौती का सामना कर सकेंगे। इन सभी संसाधनों को मिलाकर आप अपने जीवन के महत्वपूर्ण क्षणों को सही समय पर योजना बना पाएँगे।
अब आगे देखते हैं कि हमारे संग्रह में कौन‑कौन से विशिष्ट मुहूर्त‑संबंधी लेख मिलेगी। आप यहाँ विभिन्न त्योहारों, धार्मिक अनुष्ठानों और व्यक्तिगत जीवन‑घटनाओं के लिये तैयार किए गए सूचनात्मक पोस्ट पाएँगे, जो आपके निर्णय को आसान बनायेंगे।
दीपावली 2025 को 20 अक्टूबर को लक्ष्मी‑गणेश‑कुबेर की पूजा का शुभ मुहूर्त, पावन विधि और विशेषज्ञ टिप्स, नई दिल्ली सहित पूरे भारत में।