भारत में हर बार कुम्भ मेला आते ही लाखों श्रद्धालु इकट्ठा होते हैं। 2025 का महाकुंब भी इसी तरह धूमधाम से मनाया जाएगा। अगर आप इस वर्ष के मेले में भाग लेने की सोच रहे हैं, तो यहाँ कुछ काम की जानकारी है जो आपकी तैयारी को आसान बनाएगी।
महाकुंब चार साल में एक बार होता है और 2025 का मेला अशाढ़ महीने के शुक्ल पक्ष के तृतीय दिन से शुरू होगा, जो लगभग 30 जून को पड़ता है। मुख्य तीन सत्संग स्थल हैं – प्रयाग (इलाहाबाद), हरिद्वार और उज्जैन। इन जगहों पर अलग‑अलग समय पर जल स्नान की व्यवस्था होगी, इसलिए अपनी यात्रा का क्रम पहले से तय कर लें।
1. **टिकट और पास** – कई राज्य अब ऑनलाइन प्रवास पास जारी करते हैं। आधिकारिक पोर्टल पर रजिस्टर करें, पहचान पत्र अपलोड करें और पास प्रिंट कर रखें। इससे भीड़ में जगह मिलती है और सुरक्षा चेक तेज़ होते हैं।
2. **आवास** – महाकुंब के आसपास होटल और गेस्टहाउस जल्दी भर जाते हैं। अगर बजट कम है तो सरकारी शरणस्थलों या लोकल होस्टेल बुक करें, पर पहले से पुष्टि कर लें कि वे साफ‑सुथरे हैं।
3. **स्वास्थ्य** – भीड़ में बीमारियों का जोखिम बढ़ता है। मास्क पहनें, हाथ धोते रहें और पानी की बोतल अपने साथ रखें। अगर आप दवाई ले रहे हैं तो डॉक्टर से सलाह लेकर पर्याप्त स्टॉक रख लें।
4. **भोजन** – बाहर के खाने से बचना बेहतर है। पोर्टेबल फ्रिज या थर्मस में घर का बना खाना ले जाएँ। यदि स्थानीय भोजन लेना पड़े, तो साफ‑सुथरे ढांचे वाले ठेले चुनें और कच्चा सलाद नहीं खाएँ।
5. **पर्यावरण** – मेले में कचरा बढ़ता है। प्लास्टिक बैग और बोतल की जगह कपड़े के थैले या पुनः उपयोग योग्य बॉटल लाएँ। अपने पास जितना कचरा आए, उसे निर्धारित डस्टबिन में फेंकेँ।
6. **यातायात** – भीड़ वाले दिन सार्वजनिक बसें और रेलगाड़ी पूरी भर जाती हैं। निजी वाहन से आने वाले लोग अक्सर ट्रैफ़िक जाम का सामना करते हैं। अगर संभव हो तो साइकिल या पैदल चलना आसान रहता है, विशेषकर जब जल स्नान के पास पहुँचना हो।
7. **सुरक्षा** – पुलिस और सुरक्षा गार्ड लगातार ड्यूटी में रहेंगे। किसी भी असुविधा या अजीब व्यवहार को तुरंत रिपोर्ट करें। साथ ही अपने मोबाइल की लोकेशन शेयर करना न भूलें, ताकि आपात स्थिति में मदद मिल सके।
महाकुंब 2025 के बारे में सबसे बड़ी बात है कि यह आध्यात्मिक शुद्धि का मौका देता है, लेकिन सावधानी से नहीं चले तो असुविधा भी बढ़ सकती है। ऊपर दिए टिप्स को फॉलो करके आप अपने अनुभव को आरामदायक और सुरक्षित बना सकते हैं। तैयार रहें, योजना बनाएँ और इस पवित्र मेले का आनंद लें!
ऑपल के सह-संस्थापक स्टीव जॉब्स की विधवा लॉरिन पावेल जॉब्स, महाकुंभ 2025 में प्रयागराज, उत्तर प्रदेश में शिरकत करेंगी। उन्हें स्वामी कैलाशानंद गिरि महाराज द्वारा हिंदू नाम 'कमला' प्राप्त हुआ है। वे 'कल्पवास' का पालन करते हुए साधारण जीवन बिताएंगी, जिसमें वे ध्यान, मंत्रजाप, और पवित्र स्नान करेंगी। यह महाकुंभ में उनकी भागीदारी के ज़रिए उसकी व्यापक अपील और महत्व को दर्शाता है।